शुक्रवार को पड़ने वाली द्वितीया तिथि को मृत्युदा योग माना जाता है, जो शुभ कार्यों के लिए अशुभ मानी जाती है. इस दिन यात्रा, विवाह, संगीत, विद्या और शिल्प जैसे कार्य करना वर्जित है. हालांकि, कृष्ण पक्ष की द्वितीया में यात्रा, विवाह, संगीत, विद्या और शिल्प जैसे कार्य करना शुभ माना जाता है. सनातन धर्म में शुक्रवार का दिन धन की देवी मां लक्ष्मी को समर्पित है. इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-उपासना की जाती है. इसके साथ ही सुख और सौभाग्य में वृद्धि के लिए लक्ष्मी वैभव व्रत रखा जाता है. इस व्रत को करने से साधक को आर्थिक तंगी से मुक्ति मिलती है. साधक श्रद्धा भाव से शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की पूजा करते हैं. अगर आप भी आर्थिक तंगी से निजात पाना चाहते हैं, तो शुक्रवार के दिन विधि-विधान से मां लक्ष्मी की पूजा करें...आइए ऐसे में ज्योतिर्विद शैलेंद्र पांडेय जी से जानते हैं कि, शुक्रवार की द्वितीया तिथि विशेष अशुभ क्यों होती है ? राशिनुसार जानें क्या करें, क्या ना करें ? ...